नई EV Policy के बावजूद भारत में टेस्ला मैन्युफैक्चरिंग की उम्मीद धुंधली, टेस्ला के भारत में मैन्युफैक्चरिंग के हक में नहीं ट्रंप

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By Sunita Singh

🕒 Published 2 months ago (4:29 PM)

भारत में टेस्ला की गाड़ियों के निर्माण को लेकर जारी अटकलों को एक नया मोड़ मिला है। केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री कुमार स्वामी ने हाल ही में स्पष्ट किया है कि एलन मस्क की कंपनी टेस्ला के भारत में मैन्युफैक्चरिंग शुरू करने की संभावना अभी नहीं के बराबर है। यह बयान ऐसे समय में आया है जब भारत सरकार ने अपनी नई इलेक्ट्रिक वाहन (EV) नीति की घोषणा की है, जो वैश्विक ऑटो कंपनियों को आकर्षित करने के लिए तैयार की गई है।

आयात शुल्क में भारी कटौती

सरकार ने अपनी नई नीति मार्च 2024 में घोषित की थी। नई नीति के अंतर्गत अब 35,000 डॉलर या उससे अधिक की कीमत की इलेक्ट्रिक कारों पर आयात शुल्क में भारी कटौती की। यह कटौती 70% से घटाकर 15% हो गई। लेकिन यह रियायत केवल उन्हीं कंपनियों को दी जाएंगी जाे भारत में कम से कम 486 मिलियन डॉलर के निवेश करने का वादा करेंगी। इसके अलावा ये कंपनियां एक साल में अधिकतम 8000 गाड़ियां ही कम ड्यूटी पर भारत में इंपोर्ट कर सकेंगी।

EV मैन्युफैक्चरिंग के लिए आवेदन आमंत्रित

केंद्रीय मंत्री कुमार स्वामी ने बताया कि सरकार जल्द ही EV मैन्युफैक्चरिंग के लिए आवेदन आमंत्रित करने जा रही है, जिससे ज्यादा से ज्यादा वैश्विक कंपनियों को भारत में निवेश के लिए प्रेरित किया जा सके।

एलन मस्क हाई इंपोर्ट ड्यूटी के आलोचक

एलन मस्क पहले से ही भारत में हाई इंपोर्ट ड्यूटी की आलोचना करते रहे हैं और भारत की नई EV नीति को टेस्ला जैसी कंपनियों को लुभाने के प्रयास के रूप में देखा जा रहा है। हालांकि, टेस्ला की ओर से अब तक भारत में फैक्ट्री खोलने को लेकर कोई ठोस घोषणा नहीं हुई है।

टेस्ला ने भारत में शोरूम

इस बीच, यह जानकारी भी सामने आई है कि टेस्ला ने भारत में कुछ शोरूम तय किए हैं और दो दर्जन से ज्यादा नौकरियों की घोषणा की है। इससे संकेत मिलता है कि कंपनी भारत में अपनी एंट्री दर्ज करा सकती है। बता दें कि फरवरी में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने टेस्ला के भारत में फैक्ट्री खोलने की योजना को “अनुचित” बताया था।

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