🕒 Published 1 week ago (4:13 PM)
बेंगलुरु में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की पहली IPL जीत का जश्न एक बड़े हादसे में बदल गया। चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर आयोजित विक्ट्री परेड में मची भगदड़ में 11 लोगों की जान चली गई और 33 से अधिक लोग घायल हो गए। मृतकों में तीन नाबालिग भी शामिल हैं और सभी की उम्र 35 वर्ष से कम बताई जा रही है।
इस दर्दनाक हादसे के बाद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए RCB के मार्केटिंग हेड और इवेंट मैनेजमेंट कंपनी के तीन कर्मचारियों को गिरफ्तार किया है। चारों आरोपियों को कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
KCA के सचिव और कोषाध्यक्ष ने नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए दिया इस्तीफा
इस हादसे के बाद कर्नाटक स्टेट क्रिकेट एसोसिएशन (KCA) के सचिव ए. शंकर और कोषाध्यक्ष ई. जयराम ने अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है। दोनों ने एक संयुक्त बयान में कहा कि उन्होंने नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए 6 जून की रात को KCA अध्यक्ष को इस्तीफा सौंप दिया है। उन्होंने यह भी कहा कि भले ही उनकी भूमिका सीमित थी, लेकिन वे अपने पद पर बने रहना उचित नहीं समझते।
सूत्रों के अनुसार, गुरुवार रात जब पुलिस उन्हें गिरफ्तार करने उनके घर पहुंची, तो वे वहां से गायब मिले।
सीएम ने दिए कड़े आदेश, हाई लेवल एक्शन में आई सरकार
कर्नाटक के मुख्यमंत्री ने घटना के तुरंत बाद सख्त कार्रवाई करते हुए बेंगलुरु पुलिस कमिश्नर समेत 8 अधिकारियों को सस्पेंड कर दिया। साथ ही, अपने ही राजनीतिक सचिव को भी पद से हटा दिया है। मुख्यमंत्री ने RCB और इवेंट कंपनी के उच्च अधिकारियों पर FIR दर्ज करने के निर्देश भी दिए हैं।
विराट कोहली समेत अन्य RCB खिलाड़ियों पर भी संकट
इस भगदड़ को लेकर काब्बन पार्क थाने में सामाजिक कार्यकर्ता स्नेहमयी कृष्णा ने एक FIR दर्ज करवाई है। इस FIR में मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, डिप्टी CM डी. के. शिवकुमार और कर्नाटक क्रिकेट संघ को भी लापरवाही के लिए जिम्मेदार ठहराया गया है।
हाईकोर्ट ने लिया स्वत: संज्ञान
कर्नाटक हाई कोर्ट ने इस हादसे पर स्वतः संज्ञान लिया है। कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश वी. कामेश्वर राव और जस्टिस सी. एम. जोशी की बेंच ने राज्य सरकार से विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। कोर्ट ने पूछा है कि RCB खिलाड़ियों को सम्मानित करने का फैसला किसने लिया और इतने बड़े आयोजन के लिए क्या सुरक्षा प्रबंध किए गए थे। कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई की तारीख 10 जून तय की है।
राज्य सरकार ने अदालत में बताया कि घटना के बाद तत्काल घायलों को इलाज पहुंचाया गया और कार्यक्रम स्थल पर कुल 1380 पुलिसकर्मी तैनात किए गए थे।