🕒 Published 7 hours ago (4:08 PM)
मोरपंख सिर्फ एक आकर्षक सजावटी वस्तु नहीं है, बल्कि यह आपके घर में सुख-शांति, समृद्धि और सकारात्मक ऊर्जा लाने वाला एक शुभ प्रतीक भी है। भारतीय वास्तु शास्त्र और परंपराओं में मोरपंख को विशेष महत्व दिया गया है। यह न केवल आर्थिक समृद्धि को बढ़ाता है, बल्कि नज़र दोष और नकारात्मक शक्तियों से भी रक्षा करता है।
वास्तु शास्त्र में मोरपंख का महत्व
वास्तु शास्त्र के अनुसार, मोरपंख को घर की उत्तर-पूर्व दिशा में रखना अत्यंत शुभ माना जाता है। यह दिशा बुद्धि, समृद्धि और शांति की दिशा होती है। मोरपंख वहां रखने से सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बना रहता है और घर का वातावरण शांतिमय होता है। पूजा कक्ष, लिविंग रूम या पढ़ाई के स्थान पर इसे सजाना अत्यधिक लाभकारी है।
नज़र दोष और बुरी ऊर्जा से बचाता है
माना जाता है कि मोरपंख में ऐसी दिव्य शक्ति होती है, जो नज़र दोष, ईर्ष्या और बुरी ऊर्जा को दूर कर सकती है। यदि आपको लगता है कि आपके घर या किसी सदस्य पर बुरी नज़र का असर है, तो मोरपंख की उपस्थिति उस प्रभाव को कम कर सकती है। यह मानसिक संतुलन और शांति बनाए रखने में भी मदद करता है।
धन और समृद्धि को आकर्षित करता है
मोरपंख को तिजोरी या घर के मुख्य दरवाजे के पास रखने से धन का आगमन होता है। मान्यता है कि इससे मां लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है और आर्थिक स्थिति में सुधार आता है। यह एक सरल, सस्ता लेकिन बेहद प्रभावशाली उपाय है, जिसे किसी भी घर में आसानी से अपनाया जा सकता है।