Schemes

डाक विभाग को बंधी आस, आने वाले सालों में काफी कुछ होगा खास…

भारतीय डाक विभाग के भाग भी आने वाले कुछ सालों में जागने की उम्मीद बंधने लगी है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के बजट भाषण के बाद डाक विभाग में अब फिर से जान आने की उम्मीद है। बजट में सरकार ने इंडिया पोस्ट के हालात बदलने की बात कही है। निर्मला सीतारमण ने बताया कि सरकार इसके लिए तैयारियां कर रही है।अपने बजट भाषण में वित्त मंत्री ने कहा कि सरकार भारतीय डाक विभाग को 1.5 लाख ग्रामीण डाकघरों के साथ एक बड़े लॉजिस्टिक्स संगठन में बदलने की योजना पर काम कर रही है। सरकार का मानना है कि इससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति मिलेगी। गौरतलब है कि कुछ साल पहले, ग्रामीण क्षेत्रों में गरीबों को बैंकिंग सेवाएं देने और वित्तीय स्थिति को बढ़ावा देने के लिए भारतीय डाक को डिजिटल किया गया था।एमएसएमई के लिए क्या कुछ खासएमएसएमई को लेकर सरकार ने इस बार काफी कुछ सोचकर रखा है। बजट के दौरान जिस तरह वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि बेहतर उत्पादों के साथ साथ निर्यात में एमएसएमई का 45 प्रतिशत से ज्यादा योगदान है उसने बता दिया कि सरकार इस सेक्टर को बढ़ावा देने जा रही है। बजट में कहा गया कि सरकार एमएसएमई के लिए लोन गारंटी कवर बढ़ाने जा रही है। एमएसएमई के लिए क्रेडिट गारंटी कवर 5 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 10 करोड़ कर दिया गया है। इसके अलावा उद्यम पोर्टल में रजिस्टर्ड एमएसएमई को 5 लाख रुपये तक की लोन सीमा वाला क्रेडिट कार्ड भी दिया जाएगा। कारोबारी महिलाओं को कर्जपहली बार कारोबार शुरू करने वाली महिलाओं के लिए आने वाला वित्त वर्ष बेहतर होने जा रहा है। वित्त मंत्री ने अपने बजट भाषण में उन महिलाओं के लिए बड़ा एलान किया है जो पहली बार अपना कारोबार शुरू करने जा रही हैं। पहली बार कारोबार करने जा रही महिलाओं को 2 करोड़ रुपये तक कर्ज मिल सकेगा। बताया जा रहा है अभी इस इस योजना का लाभ 5 लाख महिलाओं को मिलेगा। भारत बनेगा खिलौना सेक्टर में वैश्विक हब… सरकार खिलाने सेक्टर में भारत को वैश्विक हब बनाना चाहती है। इसके लिए एक राष्ट्रीय योजना लागू की जाएगी। शनिवार को बजट भाषण के दौरान वित्त मंत्री ने कहा कि इस योजना के तहत कौशल और निर्माण तंत्र के विकास से निर्मित खिलौनों से आत्मनिर्भर भारत के ब्रांड के साथ दुनिया के सामने रखा जा सकेगा। इसके अलावा भारत में मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ाने के लिए नेशनल मैन्युफैक्चरिंग मिशन लॉन्च किया जाएगा। इसमें ‘मेक इन इंडिया’ को सपोर्ट करने के लिए छोटी, मध्यम और बड़ी इंडस्ट्रीज को सपोर्ट किया जाएगा।