भोपाल से बीजेपी की पूर्व सांसद प्रज्ञा ठाकुर फिर विवादों में
भोपाल से भारतीय जनता पार्टी की पूर्व सांसद प्रज्ञा सिंह ठाकुर एक बार फिर अपने बयान को लेकर चर्चा में आ गई हैं। इस बार उन्होंने एक सार्वजनिक कार्यक्रम के दौरान बेटियों को लेकर ऐसा बयान दिया है जिसने सोशल मीडिया से लेकर सियासी गलियारों तक हलचल पैदा कर दी है।
विवादित बयान: “बेटी अगर विधर्मी के पास जाए तो उसकी टांगे तोड़ दो”
प्रज्ञा ठाकुर ने अपने संबोधन में कहा कि अगर कोई लड़की अपने माता-पिता की बात नहीं मानती और किसी “विधर्मी” के साथ जाने की सोचती है, तो माता-पिता को सख्ती बरतनी चाहिए। उन्होंने यहां तक कह दिया कि अगर जरूरत पड़े तो ऐसी बेटियों की “टांगे तोड़ देने” से भी पीछे नहीं हटना चाहिए।
संस्कारों की बात और सख्ती की सलाह
साध्वी प्रज्ञा ने कहा कि बेटियों को शुरुआत से ही भारतीय संस्कृति और संस्कार सिखाना चाहिए। अगर वह इन बातों को नहीं मानतीं, तो उन्हें “ताड़ना” यानी सख्ती से समझाना जरूरी है। उन्होंने यह भी कहा कि अगर किसी संतान की भलाई के लिए मारना-डांटना भी जरूरी हो, तो माता-पिता को पीछे नहीं हटना चाहिए।
बेटियों पर नजर रखने की अपील
अपने बयान में उन्होंने लोगों से कहा कि अगर कोई बेटी घर से भागने या धर्म परिवर्तन जैसा कदम उठाने की सोचती है, तो माता-पिता को हर संभव प्रयास करना चाहिए कि वह ऐसा न कर सके। चाहे वो प्यार से हो, समझाकर हो, डांटकर हो या जरूरत पड़े तो सजा देकर हो।
पहले भी कर चुकी हैं विवादित बयान
यह पहली बार नहीं है जब प्रज्ञा ठाकुर इस तरह के विवादित बयान को लेकर चर्चा में आई हों। इससे पहले भी वे कई बार अपने तीखे और कट्टरपंथी विचारों को लेकर सुर्खियां बटोर चुकी हैं। लेकिन इस बार मामला बेटियों और उनके जीवन के निर्णयों से जुड़ा होने के कारण राजनीतिक और सामाजिक बहस का बड़ा मुद्दा बन गया है।
सियासी प्रतिक्रिया और सोशल मीडिया पर बहस
प्रज्ञा ठाकुर के इस बयान पर सोशल मीडिया पर तीखी प्रतिक्रियाएं देखने को मिल रही हैं। कई राजनीतिक दलों और महिला संगठनों ने इस बयान की आलोचना की है और इसे महिलाओं की आज़ादी और अधिकारों पर हमला बताया है। कुछ लोगों ने यह भी मांग की है कि ऐसे बयान देने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए।


